मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंगलवार को दून मेडिकल कॉलेज, पटेलनगर में 1456 अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र प्रदान किये। इसमें लोक सेवा आयोग के माध्यम से चयनित 109 समीक्षा अधिकारी एवं सहायक समीक्षा अधिकारी और उत्तराखण्ड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के माध्यम से चयनित 1347 सहायक अध्यापक (एल.टी.) शामिल हैं।

मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने नियुक्ति पत्र प्राप्त करने वाले सभी अभ्यर्थियों को बधाई देते हुए कहा कि यह अवसर नियुक्ति अभ्यर्थियों के जीवन का एक महत्वपूर्ण पड़ाव है, साथ ही राज्य के उज्ज्वल भविष्य की नींव निर्धारण के लिए भी महत्वपूर्ण है। उन्होंने नवनियुक्त युवाओं से अपने कर्तव्यों का निर्वहन पूरी निष्ठा, पारदर्शिता और समर्पण की भावना के साथ करने की अपेक्षा करते हुए कहा कि अपने कार्य क्षेत्र में उत्कृष्टता के नए मानक स्थापित करेंगे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी राज्य की शासन व्यवस्था का सबसे महत्वपूर्ण आधार उसका प्रशासनिक तंत्र होता है। सचिवालय को राज्य की शासन व्यवस्था का मस्तिष्क कह सकते हैं, क्योंकि यहीं पर नीतियां बनती हैं, निर्णय लिए जाते हैं और विकास परियोजनाओं को धरातल पर उतारने का खाका तैयार किया जाता है। इस पूरी व्यवस्था को प्रभावी बनाने में समीक्षा अधिकारियों की भूमिका महत्वपूर्ण होती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि जब एक बच्चे को अच्छी शिक्षा मिलती है, तो वह अपने जीवन को बेहतर बनाने के साथ समाज और देश के लिए भी अमूल्य योगदान देता है। शिक्षक के कर्तव्य है कि वे बच्चों को अच्छी शिक्षा देने के साथ ही उनके भीतर समाज और देश के प्रति जिम्मेदारी की भावना का भी संचार करें, जिससे वे अच्छे नागरिक बन सकें।

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मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में राज्य सरकार प्रदेश में शिक्षा व्यवस्था को आधुनिक और गुणवत्तापूर्ण बनाने के लिए निरंतर प्रयासरत है। राज्य में विद्यालयों के इन्फ्रास्ट्रक्चर से लेकर डिजिटलाइजेशन तक, प्रत्येक स्तर पर व्यापक सुधार लाने के लिए निरंतर कार्य कर रहे हैं। प्रदेश में भर्ती की प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।

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मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले चार सालों में राज्य में 26 हजार से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरी में सेवायोजित किया जा चुका है। यह संख्या राज्य के गठन के पश्चात् से पूर्ववर्ती सरकारों के कार्यकाल में मिली कुल नौकरियों से दो गुना से भी अधिक हैं। आज हमारे युवा पारदर्शी व्यवस्था और मेरिट के आधार पर सरकारी नौकरियों में अवसर पा रहे हैं। हाल ही में हरिद्वार के एक परीक्षा सेंटर पर एक व्यक्ति द्वारा नकल का एक प्रकरण सामने आया था। सरकार ने तुरंत एक्शन लेते हुए आरोपी को गिरफ्तार किया और मामले की जांच के एसआईटी का गठन किया। युवाओं के हितों की रक्षा के लिए और युवाओं की मांग पर सीबीआई जांच की संस्तुति प्रदान कर पेपर को निरस्त करने का भी निर्णय लिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने स्वयं युवाओं के पास धरनास्थल पर जाकर उनकी सभी न्यायोचित मांगों को मानने का आश्वासन दिया।

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शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा शिक्षा विभाग में नियुक्तियों का सिलसिला लगातार जारी रहेगा जल्द ही बीआरपी, सीआरपी, बेसिक अध्यापकों और चतुर्थ श्रेणी में नियुक्तियां प्रदान की जायेगी। उन्होंने नियुक्ति प्राप्त करने वाले सभी अध्यापकों से कहा कि सबको दुर्गम क्षेत्रों में नियुक्ति प्रदान की जा रही है। कुछ साल सभी को अनिवार्य रूप से दुर्गम क्षेत्रों में सेवाएं देनी है।

इस अवसर पर राज्यसभा सांसद एवं भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेन्द्र भट्ट, विधायक विनोद चमोली, सचिव श्री रविनाथ रमन, दीपेन्द्र चौधरी एवं शिक्षा विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।

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