रुद्रप्रयाग आपदा प्रबंधन ने सूचना दी कि मदमहेश्वर ट्रेक पर गोडार नामक स्थान पर नदी पर बना वैकल्पिक पुल बह गया है। इस घटना की जानकारी मिलने पर यह स्पष्ट हुआ कि उपरोक्त ट्रेक पर कुछ लोग मौजूद थे, जिन्हें रेस्क्यू करने की आवश्यकता है।
सूचना के आधार पर, SDRF टीम ने SI भगत कंडारी के नेतृत्व में तत्काल कार्रवाई की और घटनास्थल के लिए रवाना हुई। SDRF के सेनानायक श्री मणिकांत मिश्रा के निर्देशानुसार लोगों के सुरक्षित रेस्क्यू के लिए एक अतिरिक्त टीम को निरीक्षक श्री अनिरुद्ध भंडारी के नेतृत्व में बैकअप के रूप में भेजा गया।
इंस्पेक्टर अनिरुद्ध भंडारी के नेतृत्व में SDRF टीम ने हेलीकॉप्टर के माध्यम से मदमहेश्वर से 5 किलोमीटर नीचे नानू नामक स्थान पर पहुंचकर वहां से कुल 106 लोगों (101 पुरुष और 5 महिलाएं) को सुरक्षित निकाला। इन्हें हेलीकॉप्टर में बैठाकर सुरक्षित स्थान पर ले जाया गया। इस कठिन स्थिति में, SDRF टीम ने अत्यंत साहसिक और कुशलतापूर्ण 05 किलोमीटर का पैदल रास्ता पार करते हुए रोप की सहायता से नदी पर एक टीटी बेस तैयार किया, जिसे वैकल्पिक मार्ग के रूप में उपयोग किया जा सकता था।
SDRF रेस्क्यू टीम का विवरण:
टीम नंबर 1:
- इंस्पेक्टर अनिरुद्ध भंडारी
- SI आशीष डिमरी
- HC प्रदीप रावत
- आरक्षी विकास रमोला
- आरक्षी गोविंद नेगी
- होमगार्ड केशर सिंह
- उपनल चालक दीपक
टीम नंबर 2:
- SI भगत सिंह कंडारी
- आरक्षी अनुसुया प्रसाद
- आरक्षी धीरज सिंह
- आरक्षी मुकेश
- आरक्षी बृजेश
- होमगार्ड कैलाश
- चालक मनदीप
SDRF टीम ने अपने साहसिक प्रयासों और तत्परता से लोगों की जान बचाने में सफलता हासिल की। इस रेस्क्यू ऑपरेशन ने SDRF की प्रतिबद्धता, कुशलता और साहस को एक बार फिर से साबित किया है।