मुख्यमंत्री ने कहा है कि हाल के वर्षों में चारधाम यात्रा के दौरान पर्यटकों की संख्या में अत्यधिक वृद्धि होने से राज्य की सड़कों पर यातायात का दबाव बढा है। लिहाजा सड़कों की यातायात वहन क्षमता बढाए जाने व समुचित रख-रखाव के साथ ही क्षेत्रीय संपर्क, पर्यटन और आर्थिक प्रगति की दृष्टि से महत्वपूर्ण राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता की इन परियोजनाओं का शीघ्र क्रियान्वयन होना जरूरी है।

मुख्यमंत्री ने केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री से भेंट के दौरान केंद्रीय सड़क अवसंरचना निधि के अंतर्गत अवशेष ₹ 367.69 करोड़ की प्रतिपूर्ति शीघ्र राज्य सरकार को किये जाने का मामला प्रमुखता से उठाया। मुख्यमंत्री ने ऋषिकेश बाईपास परियोजना को स्वीकृति प्रदान किए जाने और बिहारीगढ़ से रोशनाबाद तक के 33 कि.मी लंबे राज्य मार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग के रूप में अधिसूचित किये जाने का भी अनुरोध किया। काठगोदाम से पंचेश्वर तक 189 किमी लंबे मार्ग को भी राष्ट्रीय राजमार्ग का दर्जा दिये जाने का आग्रह किया।

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मुख्यमंत्री ने देहरादून शहर की ट्रैफिक जाम की समस्या के समाधान हेतु बिंदाल व रिस्पना नदियों के ऊपर प्रस्तावित एलिवेटेड रोड को एनएच-07 के लूप के रूप में स्वीकृत किए जाने का भी आग्रह किया।
मुख्यमंत्री ने मानसखण्ड परियोजना के अंतर्गत पौराणिक मंदिरों से जुड़ी 508 किमी लंबाई की 20 सड़कों के अपग्रेडेशन की कुल रू. 8000 करोड़ की लागत की परियोजना के प्रथम चरण हेतु ₹1000 करोड़ की धनराशि स्वीकृत करने का अनुरोध किया। इसके अतिरिक्त खटीमा में रिंग रोड निर्माण के साथ ही पंतनगर एयरपोर्ट के विस्तारीकरण से प्रभावित एनएच-109 के पुनः संरेखण के बाद प्रस्तावित बाईपास सड़क के निर्माण हेतु संशोधित लागत रू. 371.84 करोड़ की धनराशि स्वीकृत करने और एनएच-07 पर प्रस्तावित मेट्रो कॉरिडोर के लिए ₹110 करोड़ की अतिरिक्त सहायता दिए जाने का भी अनुरोध किया।

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मुख्यमंत्री ने एनएच 507 पर बाड़वाला से लखवाड़ बैंड (28 किमी) एवं एनएच 534 पर दुगड्डा से गुमखाल तक (18.10 किमी) चौड़ीकरण कार्यों की शीघ्र स्वीकृति का भी अनुरोध किया।

मुख्यमंत्री ने राज्य की विषम भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए सभी प्रस्तावित परियोजनाओं को त्वरित स्वीकृति देने का अनुरोध किया। केंद्रीय मंत्री गडकरी ने सभी प्रस्तावों पर सकारात्मक कार्रवाई का आश्वासन दिया।

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इस अवसर पर केंद्रीय सड़क परिवहन राज्य मंत्री अजय टम्टा, प्रमुख सचिव श्री आर के सुधांशु, आर मीनाक्षी सुंदरम, सचिव डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय और स्थानिक आयुक्त श्री अजय मिश्रा मौजूद थे।

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