केदारनाथ विधानसभा के आगामी उपचुनाव को लेकर भाजपा अपने स्तर से कोई कमी नहीं रखना चाहती है। मंडल से लेकर बूथ स्तर पर एक-एक कार्यकर्ता को जिम्मेदारी सौंपी गई है, जिसकी मॉनीटरिंग की जा रही है। भाजपा ने जिला व ब्लॉक स्तर के सभी पदाधिकारियों को दूरस्थ गांवों में जनसंपर्क के लिए कहा है, जिनसे प्रतिदिन की रिपोर्ट मांगी जा रही है।
वहीं, भाजपा इस उप चुनाव में किसी भी स्तर पर कोई कमी नहीं रखना चाहती। सरकार के कैबिनेट मंत्री, विधायक से लेकर जिला स्तरीय पदाधिकारी व कार्यकर्ता केदारनाथ के गांव-गांव जाकर एक-एक मतदाता से संपर्क कर रहे हैं। मंडल स्तर पर प्रवास केंद्र बनाए गए हैं, जहां पदाधिकारी जनसंपर्क कर प्रत्येक दिन की रिपोर्ट हाईकमान व संगठन को सौंप रहे हैं। बदरीनाथ व मंगलौर विस उप चुनाव में मिली हार से सबब लेते हुए भाजपा केदारनाथ विस उप चुनाव में विपक्ष के लिए कोई मौका देने के मूड में नहीं दिख रही है।

लगभग 92 हजार मतदाता वाले केदारनाथ विस में दिवंगत विधायक शैलारानी रावत के निधन के बाद उप चुनाव होना है। सूत्रों की मानें तो आने वाले दिनों में कभी भी उप चुनाव की अधिसूचना जारी हो सकती है।

जिस तरह से समूची केदारघाटी के बाजारों, कस्बों और गांवों में भाजपाई जनसंपर्क कर रहे हैं, उससे इतना तय है कि, मुकाबला कड़ा होने वाला है। ऐसे में सत्तापक्ष अपने स्तर से कोई कमी नहीं रखना चाहता। दायित्वधारी चंडी प्रसाद भट्ट का कहना है कि केदारनाथ विस उप चुनाव के लिए भाजपा का एक-एक कार्यकर्ता समर्पित भाव से काम कर रहा है।

केदारनाथ विस उप चुनाव में भाजपा किसे अपना प्रत्याशी बनाएगी, इसे लेकर केदारघाटी में चर्चाओं का बाजार गर्म है। संभावित प्रत्याशियों के समर्थक अपने-अपने नेता का नाम बता रहे हैं, वहीं जनता भी सभी समीकरणों का हवाला देते हुए कयासबाजी पर चल रही है

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