गुलरघाटी बेस खाद्य गोदाम का छान मारा कोना-कोना

न रजिस्टर मेंटेन, ना Fifo प्रचलित, ना अनाज रखने को रेक, नाही रेट ट्रैप, सिलाई भी निर्धारित सुतली से नहीं,

अनाज बोरोे पर अनाज भरान की तिथि, वजन अंकित नही,एडीएम, डीएसओ, तहसीलदार 5 घटें से मौके पर विराजमान, विस्तृत रिपोर्ट साक्ष्य दर्ज की कार्यवाही गतिमान डीएम के कड़े निर्देश पहले आया अनाज पहले हो विपणन, मानकों का पालन नही तो सख्त एक्शन

आंगनबाड़ी, नौनिहाल, दुरस्थ क्षेत्रवासी करते हैं उपभोग, सेहत से खिलवाड़ नही है बर्दाश्त

सीएम के संकल्प, सरकार की छवि बरकार रखने को जिला प्रशासन दूरी नही धूरी की तरह हर वक्त सजग है कोताही लापरवाही निष्ठाहीनता पर जिला प्रशासन देहरादून की निरंतर एक बाद एक एक्शन जारी। जिलाधिकारी सविन बंसल ने आज खाद्य गोदाम गुलर घाटी का औचक निरीक्षण किया। गोदाम में निर्धारित मानको का पालन न होने तथा रजिस्टर मेंटेन ना होने पर डीएम ने नाराजगी जताते हुए वरिष्ठ विपणन अधिकारी विष्णु प्रसाद चतुर्वेदी पर प्रतिकूल प्रविष्टि दर्ज करने तथा विभागीय कार्रवाई के निर्देश दिए। बेस गोदाम से सिर्फ देहरादूनवासी हो नही, अपितु, गढवाल मण्डल के नई जिलों में होती है आपूर्ति
जिलाधिकारी आज गुलरघाटी स्थित अनाज गोदाम पर पंहुचे जहां डीएम के पंहुचते ही गोदाम में कार्यरत अधिकारियों/कार्मिकों में खलबली मच गई। डीएम का निरीक्षण औचक निरीक्षण था बेहद गोपनीय डीएम बाद आनन-फानन में पंहुचे अधिकारी।
निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने अनाज के सैंपल करवाए, जिसमें सैंपल फेल होने पर जिलाधिकारी ने कुंटलों अनाज को नष्ट करने के निर्देश दिए। जिलाधिकारी ने कड़े शब्दों में कहां कि बच्चों, महिलाओं, बुजुर्गों जनमानस की सेहत से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा, इस प्रकार की लापरवाही करने वाले अधिकारी को विरुद्ध कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
निरीक्षण के दौरान अनाज रखने हेतु मानकों के अनुसार व्यवस्था नहीं पाई गई , चूहों से अनाज की सुरक्षा के लिए चूहेदानी व्यवस्था नहीं थी। जिस पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी ने तत्काल व्यवस्था करने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए। उन्होंने कड़े शब्दों में कहा कि यदि व्यवस्था नही थी तो उच्चाधिकारियों के संज्ञान में क्यों नही लाया गया यदि लाया गया है तो पत्राचार की प्रति उपलब्ध कराएं।
डीएम ने अपने सामने बोरियों का वजन कराया जिसमें उल्लिखित वजन से कम वजन पाया गया। बोरी सहित वजन 50580 किलो होना चाहिए जबकि बोरी में 50150 किलो वजन पाया गया जो की मानक से कम रहा। जिलाधिकारी ने गेहूं-चावल के मौके पर ही सैम्पल कराए।
निरीक्षण के दौरान अपर जिलाधिकारी प्रशासन जयभारत सिंह, तहसीलदार सुरेन्द्र देव, फूड सेफ्टी ऑफिसर सहित सम्बन्धित अधिकारी कार्मिक उपस्थित रहे।

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